Friday, 5 October 2018

मछली नामक बाघिन की होगी जीनोम मैपिंग



राजस्थान के रणथम्भौर राष्ट्रीय उद्यान में लोकप्रिय ‘मछली’ नामक बाघ की मौत अगस्त 2016 में हो गई थी। वैज्ञानिकों एवं शोधकर्त्ताओं ने उसकी मौत के समय निकाले गए डीएनए की जीन मैपिंग करने का निर्णय लिया है।

➤ आइकॉनिक मछली नामक बाघिन कई वर्षों तक जीवित रही और उसके कई बच्चे उस उद्यान में है। चूंकि रणथम्भौर के बाघ सहज पैदाइशी हैं इसलिए ये प्रजातियों के लिए उत्कृष्ट उदाहरण प्रस्तुत करती हैं।

 मछली बाघिन की जीन मैपिंग होने से किसी अन्य जगह के बाघों से तुलना करने में संदर्भ जीनोम के रूप में उपयोग किया जा सकता है।

 मछली नामक बाघिन, जिसे टी16 भी कहा जाता था, को यह नाम चेहरा पर मछली जैसा चिह्न होने के कारण दिया गया था।